Godawari nadi |
- गोदावरी दक्षिण भारत की एक प्रमुख नदी है .
- यह नदी अन्य प्रायद्वीपीय नदियों में सबसे बड़ी है .
- इसे दक्षिण गंगा भी कहा जाता है .
- यह पश्चिमी घाट में त्र्यंबक पहाड़ी से निकलती है .
- यह महाराष्ट्र के नासिक जिले से निकलती है .
- इसकी लंबाई आमतौर पर 1465 किमी है .
- यह महाराष्ट्र, तेलंगाना और आंध्र प्रदेश से बहती हुई राजमुंदरी शहर के पास बंगाल की खाड़ी में गिरती है .
- प्रवरा नदी गोदावरी नदी की सहायक नदियों में से एक है ।
नदी की गहराई
गोदावरी नदी
काफी गहरी है, जिसकी औसत गहराई 17 फीट (5 मीटर) और अधिकतम
गहराई 62 फीट (19 मीटर) है .
गोदावरी की सात
शाखाएँ मानी जाती हैं -
- गौतमी
- वसिष्ठा
- कौशिकी
- आत्रेयी
- वृद्धगौतमी
- तुल्या
- भारद्वाजी
नामकरण
कुछ विद्वानों के
अनुसार, इसका नाम तेलुगु
भाषा के शब्द 'गॉड' के नाम पर रखा
गया है, जिसका अर्थ है
गरिमा . एक बार महर्षि गौतम ने कठोर तपस्या की . इससे रुद्र प्रसन्न हो गए और
उन्होंने एक बाल के प्रभाव से गंगा को प्रवाहित कर दिया . एक मृत गाय को गंगा जल
के स्पर्श से पुनर्जीवित किया गया था . इसी कारण इसका नाम गोदावरी पड़ा . गौतम के
साथ जुड़े होने के कारण इसे गौतमी भी कहा जाता था इसमें स्नान करने से सारे पाप
धुल जाते थे .
गोदावरी की सात धाराएँ प्रसिद्ध वशिष्ठ, कौशिकी, वृद्धा गौतमी, भारद्वाजी, आत्रेयी और
तुल्या अतीवा हैं . उनका वर्णन पुराणों में मिलता है .